पाणी बाणी ईधनी दूध,इतना लीजै छाण
अग्नि में जलाई जाने वाली लकड़ी को देखकर ही प्रयोग में लेनी चाहिए कही लकड़ी की छाल में कीड़े आदि जीव तो नही है ?दीमक आदि से युक्त लकड़ी को प्रायः प्रयोग में नही लेना चाहिए।थेपड़ियो व कण्डे आदि भी जीव रहित हो,ऐसा निश्चय होने पर ही अग्रि में डाले जाने चाहिए।दूध भी कपड़े से छानकर प्रयोग में लाना चाहिए।आजकल प्रायः प्लास्टिक की छलनी से दूध छानकर प्रयोग में लेने का प्रचलन हो गया है, जो उचित नही है।सूती कपड़े…