

शब्द नं 98
जिंहि गुरु के खिण ही ताऊ-खिंण ही सीऊ एक समय समराथल धोरे पर जमाती भक्तजनों ने गुरु जंभेश्वर महाराज से संसार एवं प्रकृति की परिवर्तन शीलता के विषय में जानना चाहा कि वह कौन सी शक्ति है जो क्षण भर में कुछ का कुछ कर देती है? भक्त जनों की जिज्ञासा जान गुरु महाराज ने यह शब्द कहा:- जिहिं गुरु कै खिंण ही ताऊं खिंण ही सीऊं हे जिज्ञासु जन! उस परमपिता परमेश्वर सतगुरु की महिमा अपार हैं।उसकी इच्छा मात्र…

जम्भेश्वर भगवान का सबसे प्यारा भजन
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शब्द नं 99
🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻 साच सही म्हे कूड न कहिबा पूर्व प्रसंग में कहे हुए शब्द को सुनकर जमाती लोगों ने कहा कि इस प्रकार की रहस्य भरी योग की बातें वे क्या जाने तथा उन्होंने गुरु जंभेश्वर महाराज से दान देने के विषय में भी जानना चाहा। गुरु महाराज ने दान दाताओं द्वारा सांसारिक बडाई के लिए दिए गये दान को व्यर्थ बताया तथा हरि हित के लिए दिये गये दान का महत्व प्रतिपादित किया एवं यह शब्द कहा:- साथ सही म्हे…

लाड प्यार सु बड़ी रे लाडली
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शब्द नं 100
🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻 अरथूं गरथूं साहंण थाटूं एक समय समराथल पर संत मंडली में दान देने विषयक चर्चा चल रही थी,उसी समय एक राजा ने जिज्ञासा प्रकट की कि जो कोई धन-दौलत, हाथी घोड़ों का नित्य दान करता है, उसकी क्या गति होती है?राजा की जिज्ञासा जान श्री गुरु जंभेश्वर महाराज ने यह शब्द कहा:- अरथूं गरयूं साहंण थाटूं कुड़ा दीठो ना ठाटो कुड़ी माया जाल न भूली रे राजेन्द्र अलगी रही ओजूं की बाटो हे राजन! यह सासारिक धन- दौलत, घोड़ों…

Bharose thare chale mahari naav
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शब्द नं 101
🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻 नित ही मावस नित ही संकरांत पूर्व शब्द के प्रसंगानुसार समराथल धोरे पर संत मंडली में दान देने के समय एवं पात्र के बारे में चर्चा चल रही थी।उसी चर्चा के दौरान एक ब्राह्मण ने अपना मत प्रकट किया की अमावस्या के दिन जब नवग्रह एक स्थान पर हो। तब किसी तीर्थ स्थान पर दिया हुआ दान फलीभूत होता है। संत मंडली के ही कुछ लोगों ने श्री जंभेश्वर महाराज से दान के समय एवं स्थान के विषय में…

Jambhoji ne japlo re prani
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शब्द नं 102
🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻 विसन विसन भणि अजर जरिजै एक समय की बात है कि बूढ़ा खिलेरी नाम के व्यक्ति ने आकर गुरु महाराज से कहा कि वह अपने घर परिवार को तो छोड़ नहीं सकता,परंतु इस संसार में जन्म मरण के चक्कर से मुक्ति पाना चाहता है। गुरु महाराज उसे कोई ऐसा मार्ग बतलावे, जिस पर चलकर वह घर संसार में रहते हुए मुक्ति पा ले। उसका यह प्रश्न सुनकर गुरु महाराज ने यहशब्द कहा:- विसन विसन भण अजर जरीजै लाहो लीजै…

जम्भेश्वर भगवान बहुत सुंदर उमावड़ो
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Chalo ji chalo the bala ji k dham
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