

उदार हृदय के राजनेता थे चौधरी भजनलाल जी (Part 2)
जम्भेश्वर महाराज से प्रार्थना की और गुरु कृपा से ही चौधरी भजनलाल औरैया के उस बिश्नोई सम्मेलन के मात्र 25 दिनों बाद ही हरियाणा के मुख्यमंत्री बन गये। उन दिनों जुलाई, 1981 में मैंने हिसार में वकालत शुरू कर दी और चौधरी भजनलाल जी के मैं राजनैतिक रूप से और अधिक निकट आता चला गया। सन् 1982 में मुझे चौधरी भजनलाल जी ने ही बिश्नोई समाज की सुप्रसिद्ध पत्रिका अमर ज्योतिका सम्पादक नियुक्त करवाया, क्योंकि तब तक मैं वकील के…

हर शब्द बौना लगता है, उस फरिश्ते की तारीफ में (Part 1)
नेकीराम भादू पशु चिकित्सा एवं विकास सहायक राजकीय पशु चिकित्सालय, चुली कलां, जि. फतेहाबाद बिश्नोई रत्न चौधरी भजनलाल जी केवल एक महान राजनेता ही नहीं थे बल्कि वे दैवीय गुणों और दैवीय शक्ति से सम्पन्न महापुरुष थे, जो अपने लोक कल्याणकारी कार्यों व करिश्मों से देवदूत से जान पड़ते थे। उन्होंने जब राजनीति में प्रवेश किया तब राजनीति का स्वरूप कुछ और ही था। अस्थिर सरकारों के कारण लोगों का लोकतंत्र से विश्वास उठने लगा था। मगर उन विकट परिस्थितियों…

हर शब्द बौना लगता है, उस फरिश्ते की तारीफ में (Part 2)
चौधरी साहब ने इस समझौते से नाराज होकर मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया। चौधरी भजन लाल जी यदि सत्ता के भूखे होते तो चुप रहकर मुख्यमंत्री बने रह सकते थे। 1991-96 के मुख्यमंत्रीत्व काल में चौधरी साहब की राजनैतिक शक्ति बहुत बढ़ गई थी। देश व पार्टी के पहली पंक्ति के नेताओं में उनकी गिनती होने लगी। प्रधानमंत्री पी.वी. नरसिम्हाराव उनकी मजी के खिलाफ कोई फैसला नहीं लेते थे। चौधरी साहब पर चाहे क्षेत्रवाद के आरोप लगे हों…

हर शब्द बौना लगता है, उस फरिश्ते की तारीफ में (Part 3)
शैया पर लेटा देख कलेजा भर आया। जब दर्शन करके बाहर निकला, जहन में एक सवाल उठा कि अगर अब कोई जरूरत पड़ी तो हमारी गारंटी कौन लेगा? बिश्नोई रत्न अहसान फरामोश नहीं थे और वे हमेशा आदमपुर की चुनाव सभाओं में कहा करते थे मनुष्य को अहसान फरामोश नहीं होना चाहिए, अहसान फरामोश आदमी कृतघ्न होता है और कृतघ्न के देखने मात्र से पाप लगता है। वे हमेशा एक बिश्वे अहसान को बिलायंत से उतारते थे। एक महत्वपूर्ण घटना…

पुरखों की घरा का ऋण चुका गए बिश्नोई रत्न
पूनमचंद बिश्नोई कस्वां सीनियर सब एडिटर, दैनिक भास्कर, जोधपुर जितनी अपेक्षाएं, आशाएं और उम्मीदें बिश्नोई रत्न चौधरी भजनलाल जी से हरियाणा के लोगों की थी, उससे कहीं ज्यादा राजस्थान व मारवाड़ की रहती थी। उनके निधन से पूरा मारवाड़ शोकाकुल है। इस असहनीय व दुखदायी घटना की खबर लगी तो यहां का हर चेहरागम में डूब गया। जब इसकी खबर मारवाड़ के हर गांव व ढाणी में आग की तरह फैली तो ऐसा लगा कि न केवल हम बल्कि प्रकृति…

जुबान के धनी थे चौधरी भजन लाल जी
कामरेड रामेश्वर डेलू पूर्व स्टेज सेक्रेटरी, चौधरी भजनलाल जी, पूर्व मुख्यमंत्री बड़ोपल, फतेहाबादचौधरी भजनलाल जी से पारिवारिक सम्बन्ध तो बहुत पहले से ही थे। 1962 में सी.ए.वी. हाईस्कूल हिसार से मैट्रिक करने के बाद ही मेरा उनसे घनिष्ठ सम्पक बना जो आजीवन बढ़ता ही गया। हमारे पास ट्रांसपोर्ट का काम था और चौधरी भजनलाल जी का व्यापार इस समय तक काफी बढ़ चुका था। पूरे हरियाणा और हरियाणा से बाहर भी चौधरी साहब की फर्म का सामान भेजा जाने लगा…

अलग ही थी चौधरी साहब की कार्यशैली
हेतराम धारनियां, से.नि. एस.पी. (I.B.) 200, सैक्टर 15-ए, हिसार स्वतंत्र भारत के सर्वाधिक लोकप्रिय राजनेता चौधरी भजनलाल जी की लोकप्रियता का एकमात्र रहस्य उनकी कार्यशैली थी। उनकी इस कार्यशैली ने जनमानस के हृदय पटल पर अपनी गहरी छाप छोड़ी है, जो अमिट है। एक बार किसी कार्य को लेकर जो उनके दरबार में जाता था, वह उन्हीं का हो जाता था, क्योंकि उसे आशा से कहीं अधिक सहयोग, स्नेह व मान मिलता था। मौके पर ही समस्या का निपटारा उनकी…

चौधरी साहब की उदारता
बात सन् 1992 की है जब मैं तत्कालीन माननीय मुख्यमन्त्री चौधरी भजनलालजी के उनके चण्डीगढ़ आवास पर किसी कारणवश मिलने गया था। समय सुबह लगभग 7 बजे का होगा जब मुख्यमन्त्री महोदय सभी मिलने के इच्छुक लोगों के बीच उनकी समस्याएं सुनने में पूर्ण व्यस्त थे। अचानक उन्होंने दूर किसी को आवाज लगाई “अरे भाई सुनो-जरा इधर आओ”। धोबी, जो कपड़े लेकर आवास से निकल रहा था, पास आकर घबराहट से बोला, जनाब नमस्कार, जी, क्या था सर। उन्होंने कहा…

समय के पाबंद थे चौधरी साहब
डाँ, ब्रह्मानन्द सेवानिवृत प्रोफेसर एवं अध्यक्ष हिन्दी विभाग, कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय, हरियाणा किसी भी व्यक्ति को महान बनाने में उसकी जीवन शैली व उसके चारित्रिक गुणों का बहुत बड़ा योगदान होता है। ऐसे महापुरुषों में कुछ दिव्य गुण होते हैं, जो उन्हें सामान्य जनों से अलग करते हैं। चौधरी भजनलाल जी भी इसलिए महान थे कि उनकी जीवन शैली सबसे अलग ही थी। सामान्य जन जहां बड़े पदों एवं विलासिता के साधनों को प्राप्त कर अपनी जीवनशैली को बदल लेते हैं,…

युग पुरुष चौधरी भजनलाल जी
स्वामी कृष्णानन्द आचार्य बिश्नोई मन्दिर, ऋषिकेश स्वर्गीय श्री भजनलालजी को मैं अपना श्रद्धासुमन एक कबीर के प्रसिद्ध दोहे से देना चाहता हूंकबीरा हम पैदा हुए, जग हंसे हम रोए। ऐसी करणी कर चलें, हम हसे जग रोए॥ हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी अक्षय तृतीया को चौधरी भजनलालजी एवं श्रीमती जसमां देवी जी हरिद्वार स्नान करने आये थे तब बड़े ही स्नेह से बिश्नोई मन्दिर ऋषिकेश में भी गुरु महाराज का दर्शन करने आये। बहुत ही प्रसन्नचित थे। किसी…

सटीक होता था चौधरी भजनलाल जी का राजनीतिक मूल्यांकन
मखनलाल गोदारा सदलपुर,हिसार चौधरी भजनलाल जी एक व्यापक अनुभव व गहन समझ रखने वाले राजनेता थे। मुझे उनके सुरक्षा अधिकारी के रूप में 18 वर्ष तक उनके साथ रहने का अवसर मिला। इस दीर्घ अवधि में मैंने बहुत निकट से देखा कि उनका राजनीतिक मूल्यांकन व अनुमान कितना सटीक होता था। राजनीतिक हवा के रूख को भांपना और उसके परिणाम की सही भविष्यवाणी करना चौधरी साहब के व्यापक अनुभव और गहन समझ का प्रमाण था। एक बार नहीं अनेक बार…

ऊमाननीय चौधरी भजनलाल जी की अमट आत्मा को कोटिशः नमन
डा. सोनाराम बिश्नोई 41 बी, 9र्वी ई-रोड, सरदारपुरा, जोधपुर बिश्नोई समाज के आदित्य के अस्त होते ही अंधकार छा गया है। उदासी, अवसाद और निराशा का अंधकार, क्योंकि उत्साह, आशा और प्रकाश के पुंज चौधरी भजनलाल जी हमारे बीच नहीं रहे। रह गई केवल उनकी ओब्लू (स्मृति) एवं उनका धवल उज्ज्वल यश तथा नाम। प्रात: स्मरणीय, परमपूज्य, स्वर्गीय श्री भजनलाल जी की स्मृतियों की सरिताओं में बहकर उनके प्रति श्रद्धा व शोक के असीम सागर में डूबे हुए मुझ अकिञ्चन…